आतंकवाद विरोध दूसरे देशों के आंतरिक मामलों में हस्तक्षेप करने का बहाना नहीं हो सकता : चीन
संयुक्त राष्ट्र में चीन के उप स्थायी प्रतिनिधि केंग श्वांग ने गुरुवार को सुरक्षा परिषद की बैठक में आतंकवाद के मुद्दे पर बात करते हुए कहा कि आतंकवाद का मुकाबला करना किसी भी प्रमुख शक्ति के लिए भू-राजनीतिक सौदेबाजी का साधन नहीं बनना चाहिए, और इसे दूसरे देशों के आंतरिक मामलों में हस्तक्षेप करने का बहाना भी नहीं बनाना चाहिए।
बीजिंग: संयुक्त राष्ट्र में चीन के उप स्थायी प्रतिनिधि केंग श्वांग ने गुरुवार को सुरक्षा परिषद की बैठक में आतंकवाद के मुद्दे पर बात करते हुए कहा कि आतंकवाद का मुकाबला करना किसी भी प्रमुख शक्ति के लिए भू-राजनीतिक सौदेबाजी का साधन नहीं बनना चाहिए, और इसे दूसरे देशों के आंतरिक मामलों में हस्तक्षेप करने का बहाना भी नहीं बनाना चाहिए।
केंग श्वांग ने कहा कि वर्तमान में आतंकवाद अंतर्राष्ट्रीय शांति और सुरक्षा के लिए एक गंभीर खतरा बना हुआ है। ऐसी स्थिति में सभी देशों को मिलकर सामान्य सुरक्षा की अवधारणा को अपनाना चाहिए, वैचारिक पूर्वाग्रह से बचना चाहिए, और 'दोहरे मानकों' और चयनात्मक आतंकवाद विरोधी कार्यों को खत्म करना चाहिए, ताकि हर देश की सुरक्षा को प्रभावी ढंग से सुनिश्चित किया जा सके।
उन्होंने जोर देकर कहा कि सभी देशों को आपसी सहयोग बढ़ाना चाहिए और सामूहिक आतंकवाद विरोधी तंत्र के निर्माण को प्रोत्साहित करना चाहिए। इसके तहत प्रारंभिक चेतावनी, वित्त पोषण पर अंकुश, यात्रा प्रतिबंध, सीमा पर्यवेक्षण और खुफिया जानकारी के आदान-प्रदान सहित अन्य क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाया जाना चाहिए।
केंग श्वांग ने यह भी कहा कि केवल सैन्य साधनों पर निर्भर रहकर आतंकवाद को पूरी तरह से समाप्त करना कठिन है। आतंकवाद का मुकाबला करते हुए, संबंधित देशों को गरीबी उन्मूलन, शिक्षा में सुधार, रोजगार के अवसरों में विस्तार और आर्थिक विकास पर विशेष ध्यान देना चाहिए। इसके साथ ही, उन्हें अपने देश की राष्ट्रीय परिस्थितियों के अनुरूप विकास के नए रास्तों का भी निरंतर अन्वेषण करना चाहिए।
(साभार: चाइना मीडिया ग्रुप, पेइचिंग)
Get Breaking News First and Latest Updates from India and around the world on Bharat Update. Follow Bharat Update on Facebook, Twitter.